छत्तीसगढ़

न्योता भोज में कलेक्टर ने अपने हाथों से बच्चों को परोसा भोजन

बिलासपुर । चिंगराजपारा के सरकारी स्कूल में मध्यान्ह भोजन का नजारा कुछ अलग था, आज बच्चों के चेहरों की खुशी देखते ही बनती थी। उनके स्कूल में आज न्योता भोज कार्यक्रम में कलेक्टर अवनीश शरण शामिल हुुए। श्रम विभाग की सहायक आयुक्त, ज्योति शर्मा ने अपने जन्म दिन के उपलक्ष्य में चिंगराजपारा सरकारी स्कूल में बच्चों को न्योता भोज दिया। बच्चों को नियमित मध्यान्ह भोजन के साथ, पौष्टिक खीर, फल, चिक्की, और लडडू परोसा गया। बच्चों को केक और चाॅकलेट भी दिया गया। प्राथमिक और मीडिल स्कूल के साढ़े तीन सौ से ज्यादा बच्चों के लिए न्योता भोजन आयोजित किया गया। कलेक्टर ने जनप्रतिनिधियों और सामाजिक लोगों से भी इस योजना में सहभागी बनने का आहवान किया है।

कलेक्टर अवनीश शरण आज चिंगराजपारा स्कूल पहुंचे। सरस्वती माता की पूजा-अर्चना के बाद केक काटा गया। इसके बाद बच्चों को पंगत में बैठाया गया। सभी बच्चों के लिए थाली लगायी गयी। कलेक्टर ने सभी बच्चों को अपने हाथों से खीर परोसा। सहायक आयुक्त ने भी बच्चों को चिक्की और लडडू परोसा। कलेक्टर ने भी स्कूली बच्चों के बीच बैठ भोजन किया। भोजन करते समय बच्चों के चेहरे पर खुशियां झलक रही थी, वे खिल उठे। खाने के दौरान कलेक्टर बच्चों से ढेर सारी बातें करते रहे। नन्हें बच्चे भी कलेक्टर को अपने बीच पाकर काफी उत्साहित थे। कलेक्टर ने बच्चों से कहा कि खूब मन लगाकर पढ़ें।

न्योता भोज में बच्चों के चमक उठे चेहरे-

न्योता भोज कार्यक्रम में आज बच्चों के चेहरे चमक उठे। नन्हीं वर्तिका सिदार ने बताया कि वो पहली कक्षा में पढ़ती हैं। आज इतना स्वादिष्ट खाना, केक और चाॅकलेट मिलने से बहुत अच्छा लग रहा है। नन्हें विराज कैवर्त ने कहा कि आज हमने कलेक्टर सर के साथ खाना खाया, हमें बहुत अच्छा लगा। विराज ने बडे़ होकर कलेक्टर बनने की इच्छा बतायी।

कलेक्टर ने जनप्रनिधियों, सामाजिक लोगों और अधिकारियों से आह्वान करते हुए कहा कि अपने जीवन के महत्वपूर्ण दिन क्षण इत्यादि को स्कूली बच्चों के साथ मनाएं। उन्हें इसी प्रकार से न्योता भोजन दें। उन्हें पूरा भोजन कराया जा सकता है या उनके भोजन मंे पौष्टिक भोज्य पदार्थ शामिल किया जा सकता है। इससे समुदाय में अपनेपन की भावना का विकास होगा और भोजन के पोषक मूल्य में वृद्धि होगी।

क्या है न्योता भोजन

प्रधानमंत्री पोषण शक्ति योजना को सामुदायिक सहयोग से और अधिक पोषक बनाने राज्य शासन द्वारा न्योता भोजन की अभिनव पहल की जा रही है। न्योता भोजन की अवधारण एक सामुदायिक भागीदारी पर आधारित है। कोई भी व्यक्ति या सामाजिक संगठन, जन्मदिन वर्षगांठ या अन्य खास मौकों पर अपने पास के स्कूल, आश्रम या छात्रावास में जाकर बच्चों के लिए न्योता भोजन का कार्यक्रम कर सकता है। इसमें पूर्ण भोजन का योगदान किया जा सकता है या अतिरिक्त पूरक पोषण के रूप में मिठाई, नमकीन फल या अंकुरित अनाज आदि के रूप में खाद्य सामग्री का योगदान दिया जा सकता है।

Vanshika Pandey

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